Monday, 11 February 2013

उसकी खता


दृश्य --1

" अरे ये अनीता शादी क्यों नहीं कर लेती ? और कब तक बैठी रहेगी। तू इस से ज्यादा  बात न किया कर और ना इसके साथ रहा कर, क्या ज़रूरत है इसके साथ  इतना घुलने मिलने की ?" कहने वाले की आवाज़ में तुर्शी थी, व्यंग्य और कडवाहट एकसाथ थी, लेकिन सुनने वाली की समझ में ना आया कि आखिर गलत क्या किया .. इतनी अच्छी  तो है अनीता, सबसे प्यार से मिलती है, कितने तो दोस्त है इसके और सब कितना रेस्पेक्ट देते हैं .. अनजाने को भी दोस्त बना लेती है।   


दृश्य --2 

" लो भाई अब तो अपने सेक्शन के लगभग सभी कुंवारों  की या तो शादी हो गई या अब होने वाली है .. सपना का भी नंबर लग गया।"  कहने वाले ने गुलाब जामुन खाते हुए कहा। 

" हाँ अपने सेक्शन में तो अब कोई कैंडिडेट नहीं  है पर दफ्तर में और है .. " बात अधूरी छोड़ दी गई .. जान बूझकर .. आँखों से एक राज, एक संकेत झाँक रहा था .

"तेरा मतलब अनीता और रंजना ?"  एक मुस्कराहट आई चेहरे पर जैसे वो राज समझ आ गया।

" अब यार कुछ तो रौनक रहने दो दफ्तर में .. वैसे भी नौकरीपेशा लडकियां तो खुद ही शादी वगेरह के झंझट से बचती हैं  .. उनकी शादी तो .. " आगे का वाक्य एक बड़ी हंसी में डूब गया। एक उपेक्षा और व्यंग्य से भरी हंसी .. एक ऐसे मजाक के लिए जो  "अब ये हंसी मजाक  तो  चलता ही रहता है " की श्रेणी में आता है। 


दृश्य -- 3

" सर मैं इन दूर  दराज के इलाकों में अकेले नहीं जा सकती और ना ही गाँव में .. कम से कम बिना सिक्यूरिटी gaurd  और गाडी के तो नहीं जाउंगी।"

"अच्छा, ठीक है .. ले जाओ गाडी।"  जवाब सूखा और उपेक्षा से भरा था।  कहने वाले ने बोलते वक़्त अपना सिर  उठा के देखने की भी जहमत नहीं की। 

दृश्य --4 

" इन आजकल के नए भर्ती  हुए लोगों को बड़े नखरे हैं, खासतौर पर इस छोकरी के। कहती है  अकेले नहीं जायेगी .. gaurd  चाहिए, गाडी चाहिए .. अरे  ज्वाइन करने से पहले  नहीं पता था कि  कितनी भागदौड है यहाँ .. हर जगह जाने के लिए एक आदमी साथ चाहिए .. अपना आदमी क्यों नहीं कर लेती .. ये भी सरकार  देगी क्या .." एक पल के लिए सबने एक दुसरे को देखा फिर कहने वाले की हंसी में शामिल हो गए।

दृश्य -- 5 

"इतनी देर से  किस से बात कर रहा है? कौन है ..तेरी ऑनलाइन गर्ल फ्रेंड है क्या ?" पूछने वाले ने एक ख़ास नज़र से देखा।

" गर्ल फ्रेंड तो नहीं है पर बातें करने के लिए, टाइमपास के लिए क्या बुरी है, और इसके पास टाइम तो बहुत है।"

"कॉलेज में है या नौकरी करती है?" 

"अरे अच्छी  जॉब है इसकी .. कॉलेज वालेज़ नहीं .. मुझसे ही बड़ी है ये तो .. खुद ही कहती है।"

"तो .. scene  क्या  है"

"कुछ नहीं यार .. ऐसे ही "टाइमपास" के लिए। जवाब देने वाला और सुन ने वाला दोनों की हंसी कमरे में गूँज गई .. कंप्यूटर स्क्रीन के दूसरी तरफ चैट  विंडो में एक स्माइली आइकॉन उभरा ..   "you are so sweet" के जवाब में।


दृश्य --6 

रात हो गई, सोने का वक़्त भी हो गया। थक कर अनीता बिस्तर पर लेटी .. चादर मुंह तक खींच कर, एक हाथ अपनी आँखों पर रख कर, सांस कस  कर भींच ली। कल सुबह क्या क्या काम हैं .. सोचती रही। और फिर सोच की दिशा एक सुनिश्चित विषय  की ओर  मुड़  गई। बहुत सी सुनी --अनसुनी बातें और बहुत से ख्याल मन में आने जाने लगे .. फिर अपने आप से ही पूछ लिया .. "मेरी क्या गलती ?"  मैंने क्या कसूर किया है ?"

आँखों पर रखे हुए हाथ का कुछ हिस्सा  गीला हो गया लेकिन फिर कुछ देर बाद सूख गया .. अगली सुबह तक के लिए।